ओम करता हूं ज्योतिष ग्रुप उड़ीसा राउरकेल बाबा सच्चा साधु सच्चा सच्चा बाबा ढोंगी ढोंगी ढोंगी और जो भी नौटंकी वगैरा करते हैं लोगों को दिखावटी के लिए बड़े-बड़े माला बड़े-बड़े टीका बड़े-बड़े छोटी बड़े-बड़े तिलक वगैरह सब लगते हैं और उनसे यह दिखाई देते हैं या दिखावा करते हैं कि यह हम लोग ओरिजिनल बाबा साधु संत महात्मा हैं और हमें चरण नमो और हमें पूजा करो हम गुरु हैं हम बाबा हैं हम चमत्कारी हैं हम चमत्कार कर सकते हैं इस प्रकार के जितने भी बातचीत हैं या जो भी आपके दिमाग में आता है और इस सब का जो भी विगत कई सालों में टीवी पेपर न्यूज़ इत्यादि में बाबो का पर्दाफाश हुआ या बाबो को जिस प्रकार का दंड मिला उन क्षेत्रों में आज के डेट में कैसे जान पे कौन सा सही बाबा है या इस प्रकार की जो वस्त्र परिधान कर लेते हैं क्या इनको हमें मान्यता देना चाहिए या नहीं देना चाहिए इससे हमारे हिंदू परंपरा सनातन परंपरा में बहुत सारा कुठाराघात होता है और हमारे मानसिकता में बहुत आघात होता है तो एक्चुअली क्या करना चाहिए
कोई भी व्यक्ति अगर अपने जीवन में इस प्रकार का वस्त्र परिधान करता है और बाहर में लोगों को दिखाता है कि मैं बाबा हूं साधु हूं संत हूं चिता चेतन लगाया चिता चिता मन टीका और चेतन मन यह और माला पहन लिया और भगवा पहन लिया तो क्या बाबा हो जाता है भले पूरा ना हो तो आधा हो जाता है भले आधा न हो तो 25% तो ही जाता है कोई आदमी ऐसा क्यों धारण करेगा चलो साइकाइट्रिक है पागलपन है प्रॉब्लमेबल है मेंटल प्रॉब्लम है कि अलग बात कुछ लोग देखना दशा अंतर दशा हो गया ऐसा दशा हो गया कल तक दारु बेड़ा पी रहा था र**** भादवा था आज बाबा बन गया
व्यक्ति और जो परिवर्तन नहीं होता वह बर्बाद होकर रह जाता है और आज नहीं तो कल हर व्यक्ति परिवर्तन होता है यहां तो दसवीं रत्नाकर वाल्मीकि बनता है इस देश में तो ऐसे कैसे कह सकते हैं कि यह झूठ है गलत है हां जरूर इसके कुंडली में गुरु चांडाल लगा हुआ हो नवम में राहु बैठा हो राहु पीड़ित अवस्था में बैठा हूं ऐसी कंडीशन में कुछ दिखावटी भाभी बन जाते बाबा बन जाते हैं जो नहीं है लेकिन लोगों को दिखाते हैं लेकिन वह पता चल जाते हैं कि कितना भी दिखावटी बाबा है वह पता चल जाएगा कि यह शो वाला बाबा है कितना भी डुप्लीकेट मसल्स कोई भी फिल्म हीरो लगा ले प्लास्टिक का आता है मसल्स वगैरा और महिलाओं में ऐसे ही जो उनका नहीं है उसे साइज का वह सब धारण कर भी ले आगे पीछे ऊपर नीचे तो क्या पता नहीं चल जाएगा चाल ढाल माल खल बल पाल सबसे चल जाता है
अपने कमाया जाता है बहुत मुश्किल से तपस्या करके मिलता है और यह आपको कोई आपके चंद रूपों में आपको दे दिया जाए या कुछ दक्षिणा दे दिए और आपको दे दिया जाए वह पॉसिबल नहीं है यह पॉसिबल है जब आपके ऊपर आ हेतु दया किसी संत महात्मा पंडित सड़क पूजा का हो जाए तो फिर वह आजा कर देता है आपका दुख देखकर सहन नहीं कर पता है या उसको लगता है कि हां वाकई में यह प्रॉब्लम में है और इसको यह देना चाहिए यह आदेश होना चाहिए यह तभी जाकर यह पॉसिबल होता है पॉसिबल होता है तो जंगली नहीं आना चाहते हैं हम लोग भी ज्यादातर कहते हैं कि भाई ऑनलाइन दिखा लो लेकिन सामने मत आओ और इसका अर्थ दो कारण हो सकता है एक तो क्योंकि ऑनलाइन बहुत सारे अपॉइंटमेंट रहते हैं और आपको जाकर फिजिकल मिलना जो लोग भी आते हैं तो उसमें हम लोग का बहुत ज्यादा समय बर्बाद हो जाता है उसमें हम 10 अष्ट कुंडली देख लेते हैं जबकि आपको दो या एक देखकर देखकर टाइम पास हो जाता है यह टेक्निकल बात है लेकिन नॉन टेक्निकल बात यह है कि छोटी बनर्जी के साथ हमें हाथ दो हाथ होना पड़ेगा आंख दो आंख होना पड़ेगा और हमें व्यवस्था न करने पर पकड़े गए क्या आशीर्वाद देना पड़ जाए और नेचरली जहां पर अच्छा रहता है छुट्टी पहुंचते हैं
किया लिया था इसलिए कह रहा हूं तो कौन खेल जाता एकदम बॉडी में एकदम रोंगटे खड़े होकर एकदम गर्मी कहीं और बन जात आप एक सिविलियन का ड्रेस पहन के जींस पहन के वह एनर्जी कभी बिल्ड अप कर सकते हैं नहीं कर सकते ऐसे ही जो मार्शल आर्टिस्ट है करने वाल जूडो का ड्रेस को घी बोलते हैं एक बार वह ड्रेस आपको भी पहना दिया जाए गीदड़ को भी खाल पहन दिया जान तो 2 मिनट के लिए शेर जैसे दाढ़ी ले रहा हूं ठीक है ऐसे ही जब भी आप देखते हो मेरे को ही स्वस्थ में तो या तो मैं पूजा से निकाल कर आया रहूंगा सुबह जैसे हवन हुआ उसके बाद आया यह संध्या किया हूं उसके बाद आया हूं गाड़ी में बैठा हूं या कुंडली विश्लेषण कर रहा हूं मेरे लिए कुंडली विश्लेषण एक पूजा है मेरे लिए ऐसा नहीं की बेडरूम में बैठा और कैमरा ऑन कर दिया और बाकी एप्स वाले जैसे करते हैं ऐसा नहीं है हम लोग नवगढ़ से और 27 नक्षत्र और नक्शा और यहां 12 राशि सबका प्रार्थना करते हैं प्यार करते हैं फिर जाकर कोई भी कुंडली विश्लेषण का काम शुरू करते हैं ऐसा कदाचित नहीं है की मनमर्जी बैठा और शुरू कर दिया हां तेरा यहां से नहीं बैठा यह होगा वहां यह बैठा हुआ होगा वह थियोरेटिकल कॉन्शियस कांसेप्ट है आपको कोई भी चीज हेलो आपको इलाम होगा ग्रह सिविल है जब आपके लिए एक राइट ड्रेस कोड होगा धोती जनरली हम लोग धोती पहनते हैं जनरली ऐसा नहीं की जींस पहने और शर्ट पहन लिया और होता पेट पर लिया और यह पहन लिया इसमें अगर ज्योतिषी हो जाता तो पॉसिबल नहीं है तीसरा यह ध्यान देना पड़ता है शुद्धता और पवित्रता
सिविल है जब आपके लिए एक राइट ड्रेस कोड होगा धोती जनरली हम लोग धोती पहनते हैं जनरली ऐसा नहीं की जींस पहने और शर्ट पहन लिया और होता पेट पर लिया और यह पहन लिया इसमें अगर ज्योतिषी हो जाता तो पॉसिबल नहीं है तीसरा यह ध्यान देना पड़ता है शुद्धता और पवित्रता ज्योतिष फोन करेंगे बेटा देखो अभी तो मेरा नया नहीं हूं अशुद्ध हूं अभी तुम्हारा प्रश्न का कोई उत्तर दे नहीं सकता इस समय मुझे ना लगे कि धोकर पूजा कर लेने दो उसके बाद प्रश्न करना मैं उत्तर दूंगा या कुछ भी पाठ पढ़ाऊंगा इतने डिग्निटी और इतने प्योरिटी और इतने पवित्रता को हम लोग ध्यान देते हैं तभी जाकर कोई वीडियो बनाते हैं या फिर कोई बात करते हैं या आपके प्रश्नों का उत्तर देते हैं या ग्रह की कुंडली खोलते हैं कुंडली खोलने के लिए धूप दिखाओ पूजा करो पाठ करो स्तोत्र करो इतना कर लेने के बाद जब आपके अंदर आता है तभी जाकर शुरू होते हैं नहीं तो शुरू नहीं हो सकते हैं और उसमें यह सारे वस्त्र इत्यादि सहायक करता रहता है यह माल कई सारे मेरे पास मलाई हैं परफेक्ट कुछ आपको बताना है तो मुझे भी उसे एनर्जी के साथ उपरोक्त होना पड़ेगा तभी जाकर मैं उसके बारे में कुछ बता सकता हूं बोल सकता हूं अगर इसमें आप सबको कोई ढोंगी उंगली दिखाई दे दिए तो शायद हो सकता है आपकी आंख का समस्या हो और अगर यह तीसरा यह है वेस्टन में अलग-अलग फेसबुक में चले जाइए पीछे-पीछे 14 15 साल पहले पुराना या यूट्यूब का जो सबसे पुराना यूट्यूब है आचार्य संजय जी गौ कथा वाचक परिवर्तन होने लगते हैं तो अलग-अलग प्रकार का वस्त्र का मेरा योग करता थाचार्य हुआ करता था तो उसे समय ड्रेस कोड अलग हुआ करता था कराटे ड्रेस में जाते हैं तो अलग ड्रेस पहनते हैं और उसी प्रकार जब मार्शल आर्ट ओपनस कम हुई इत्यादि सेल्फ डिफेंस टेक्नोलॉजी कुंग फू का काम करते हैं तो ब्लॉक ड्रेस पहनना पड़ता है चंडी पाठ मातेश्वरी का काम करते हैं तो लाल कपड़ा लाल देते हैं और भोलेनाथ के पास जब जाते हैं तो उनके लिए अलग ड्रेस कोड है विष्णु का कार्य करते हैं तो उसके लिए अलग ड्रेस है हर एक ड्रेस कलर का ग्रह कलर का महत्व अलग-अलग है कैसे पहनते हैं क्या पहनते हैं जैसे माला से लेकर कड़ा से लेकर ब्रेसलेट जैसे यह तांबे का ब्रेसलेट है ऐसे मेरे रुद्राक्ष का ब्रेसलेट है अलग-अलग
लेना है क्योंकि आया है पास बहुत सारी चीज में खरीदा नहीं कहीं ना कहीं संत महात्मा तपस्वी गुरुओं से मिल जाता है और जब यह मिलता है तो उसके पीछे कोई महत्व और रहस्य रहता है जो साधारण आदमी आम इंसान नहीं समझ पाता है और ऐसे भी मैं देखा हूं बहुत सारे बड़े विज्ञान लोग हर एक दिन अलग-अलग माला धारण करते हैं हर एक हर एक दशा अंतर दशा में अलग-अलग माल उसे करते हैं क्योंकि उनको उसे एनर्जी को जीना है पकड़ लो इस समय किसी का शरीर में शनि चल रहा है तो उसके लिए कौन सा माल सबसे पहले मेरे पास बहुत सारे चीज है लेकिन बाहर डिस्क्लोज करने के लिए नहीं है वह चीज केवल मेरे पूजा रूम में ही है मेरे साधना कक्ष में ही है और जो बाहर वाला जो साधना पीठ है जहां बाकी लोगों का काम करता हूं वह अलग जगह है वहां पर अलग चीज है ऐसे ही बहुत सारे ऐसे दूसरा कोई छू ही नहीं सकता है तो यह सारे द्रव्यों का कुछ महत्व और उपलब्धि है जिनको जैसे-जैसे इस मार्ग में आप आगे आगे जाओगे तो आपको इसके रहस्यों का पता चलेगा देखना मेरे को अगर मंगल का बोलना है तो मुझे यह जो लाल वाले पर चलना पड़ेगा ऐसे ही अलग-अलग चीजों का अलग-अलग तत्व रहता है राहु का फलित करना है तो रुद्राक्ष चाहिए ही चाहिए ऐसे अलग-अलग चीज और जैसे जैसे आपकी ग्रहण में परिवर्तन आएगा देखना आपके पास ऐसे ऐसे द्रव्य वस्तु आएंगे आपका रुचि में भी परिवर्तन आएगा ड्रेस कोड में भी परिवर्तन आएगा और ऐसे पेंट शर्ट मेरा जो राम-राम वगैरा लिखा हुआ है यह सब क्यों बोल रहा हूं कि अगर आपका जिंदगी में कोई डी उप्लिकेट ब्राह्मण बाबा दादू कुछ भी आ जाए उसे भी और मानना मत करो हो सकता है वह अंदर से कुछ महान हो और बाहर उसको छुपाने के लिए कुछ और कर रहा हो हम सब जनरल आदमी के दिमाग से वह लोग पड़े होते हैं देखो ढोंगी बाबा भी आ जाए जेल जाने वाला बाबा भी हो जाए चाहे कुछ भी हो जाए जब वह रूप में आया है तो रूप का महत्व तो कुछ है इस रूप में इस भगवा रूप में अगर कोई दाग और कलंक लगा भी दे कोई बात नहीं है थोड़ा तो साधना है जिसके लिए इसको धारण किया इसका मन रुचि में ऐसा कुछ है जिसके लिए धारण किया है मैं बाबा होकर भी दारू पिए तो वामपंथी साधु लोग तो दारू मार्च मछली का मतलब पंचमाकर से ही साधना कर लेते हैं तो क्या वह खराब हो गया उनका सारा पर्सनालिटी खराब हो गया नहीं ऐसा नहीं है और अगर ढूंढ करता भी है तो कोई बात नहीं उसे ढूंढ को भी प्रणाम करना चाहिए कि चलो यह ढूंढ करके भी तो धोती कपड़ा पहन रहा है भारतीय सांस्कृतिक वस्त्र को तो धारण कर रहा है ओरिजिनल लोग तो नहीं पहनते हैं ढोंगी लोग पहन लेते हैं तो कहने का तात्पर्य यह है कि आप जिसे डॉगी देख रहे हो पता नहीं अंदर से वह क्या होगा और आप जिस ओरिजिनल बाबा समझ रहे हो पता नहीं ओरिजिनल क्या होगा यह सब है तो अकाउंट है तो गुप्त विद्या है तो गुप्त रहस्य पता चल जाए तो फिर गुप्त कैसे रह गया